इस वेब साइट को “कविकुल” जैसा सार्थक नाम दे कर निर्मित करने का प्रमुख उद्देश्य हिन्दी भाषा के कवियों को एक सशक्त मंच उपलब्ध कराना है जहाँ वे अपनी रचनाओं को प्रकाशित कर सकें उन रचनाओं की उचित समीक्षा हो सके, साथ में सही मार्ग दर्शन हो सके और प्रोत्साहन मिल सके।
यह “कविकुल” वेब साइट उन सभी हिन्दी भाषा के कवियों को समर्पित है जो हिन्दी को उच्चतम शिखर पर पहुँचाने के लिये जी जान से लगे हुये हैं जिसकी वह पूर्ण अधिकारिणी है। आप सभी का इस नयी वेब साइट “कविकुल” में हृदय की गहराइयों से स्वागत है।
“यहाँ काव्य की रोज बरसात होगी।
कहीं भी न ऐसी करामात होगी।
नहाओ सभी दोस्तो खुल के इसमें।
बड़ी इससे क्या और सौगात होगी।।”
विजात छंद “उदंडी”
विजात छंद 14 मात्रा प्रति पद का सम मात्रिक छंद है। यह एक मापनी आधारित छंद है। इन 14 मात्राओं की मात्रा बाँट:- 1222 1222 है।
मणिमध्या छंद ‘नैतिक शिक्षा’
मणिमध्या छंद विधान-
मणिमध्या मापनीयुक्त वर्णिक छंद है। इसमें 9 वर्ण होते हैं।
इसका मात्राविन्यास निम्न है-
211 222 112
मनोज्ञा छंद “होली”
मनोज्ञा छंद विधान –
“नरगु” वर्ण सप्ता।
रचत है ‘मनोज्ञा’।।
“नरगु” = नगण रगण गुरु
111 212 + गुरु = 7 वर्ण का वर्णिक छंद।
दोहा छंद ‘जय पितरजी’
दोहा छंद ‘जय पितरजी’ पितरों के सम्मान में, नमन नित्य सौ बार। भाव सुमन अर्पण करूँ, आप करो
चोखो भारत (राजस्थानी)
म्हारो भारत घणो है चोखो,
सगळै जग सै यो है अनोखो।
ई री शोभा ताराँ सै झिलमिल,
जस गावाँ आपाँ सब हिलमिल।
लावणी छंद ‘एक चिट्ठी माँ के नाम’
लावणी छंद ‘एक चिट्ठी माँ के नाम’ लिखने बैठी माँ को चिट्ठी, हाल सभी बतलाती है। नन्हे मन की अति व्याकुलता, खोल हृदय दिखलाती है।।
मनोरम छंद “वीर सैनिक”
मनोरम छंद 14 मात्रा प्रति पद का सम मात्रिक छंद है। यह मानव जाति का छंद है। इन 14 मात्राओं की मात्रा बाँट:-
S122 21SS या S122 21S11 है।
लावणी छंद ‘दिल मेरा ही छला गया’
लावणी छंद (गीत) ‘दिल मेरा ही छला गया’ क्यूँ शब्दों के जादूगर से, दिल मेरा ही छला गया। उमड़ घुमड़ बरसाया पानी, बादल था वो
शृंगार छंद “सुख और दुख”
शृंगार छंद बहुत ही मधुर लय का 16 मात्रा का चार चरण का छंद है। तुक दो दो चरण में है। इसकी मात्रा बाँट 3 – 2 – 8 – 3 (ताल) है।